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नर्मदापुरम….
पूर्व केंद्रीय मंत्री व मध्यप्रदेश सरकार में मंत्री रहे सरताज सिंह का निधन हो गया। गुरुवार सुबह 83 साल की उम्र में उन्होंने भोपाल में अंतिम सांस ली। सरताज बाबू जी के नाम से पहचाने जाने वाले सरताज सिंह लंबे समय से बीमार चल रहे थे। वे 5 बार के सांसद, 2 बार के विधायक थे।
2018 के विधानसभा चुनाव में अपनी परंपरागत सीट सिवनी मालवा (जिला नर्मदापुरम) से टिकट नहीं मिलने पर वे भाजपा को छोड़कर कांग्रेस में चले गए थे। टिकट अधिक उम्र का हवाला देकर काटा गया था। कांग्रेस ने उन्हें पूर्व विधानसभा अध्यक्ष और नर्मदापुरम विधायक डॉ. सीतासरन शर्मा के सामने नर्मदापुरम से लड़ाया था। सीतासरन शर्मा राजनीति में सरताज सिंह के शिष्य हैं। सरताज सिंह यह चुनाव हार गए थे। बाद में भाजपा में उन्होंने वापसी कर ली। विधानसभा चुनाव हारने के बाद वे नर्मदापुरम और प्रदेश की राजनीति में बहुत ज्यादा एक्टिव नहीं रहे।
कांग्रेस में रहते हुए कहा था- सिंधिया का BJP में जाने का फैसला सही
2018 के विधानसभा चुनाव के बाद सरताज सिंह ने कांग्रेस में रहते हुए ज्योतिरादित्य सिंधिया के BJP में जाने के कदम को सही बताया था। उन्होंने कहा था कि वे सिंधिया के साथ हैं। तब लगने लगा था कि वे भी जल्द BJP में वापसी कर सकते हैं। हालांकि, उन्होंने तत्काल वापसी नहीं की। तीन साल पहले हुए उप चुनाव के बाद भोपाल के दशहरा मैदान में आयोजित BJP के किसान सम्मेलन में उन्होंने पार्टी में वापसी की थी।