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लोकायुक्त की बड़ी कार्रवाई….
रायसेन जिले के गैरतगंज एसडीएम कार्यालय में एसडीएम मनीष जैन सहित उनके ओएसडी व कंप्यूटर ऑपरेटर को क्रेशर की एनओसी के बदले 45 हजार रुपए की रिश्वत लेते हुए रंगेहाथों गिरफ्तार किया गया। कार्रवाई के बाद जैन की तबियत बिगड़ गई, जिसके बाद उन्हें इलाज के लिए भोपाल रेफर किया गया है।
रायसेन जिले की गैरतगंज तहसील में मनीष जैन एसडीएम हैं। जैन राज्य प्रशासनिक सेवा के अधिकारी हैं। उनके कार्यालय में ओएसडी दीपक श्रीवास्तव हैं और एक प्राइवेट कंप्यूटर ऑपरेटर रामनारायण अहिरवार भी है। इनके पास सईद अहमद कुरेशी का एक क्रेशर की अनुमति का आवेदन लंबित था। सईद अहमस अगरिया कलां में क्रेशर लगाना चाहते थे लेकिन एसडीएम के ओएसडी और कंप्यटूर ऑपरेटर ने एक लाख रुपए की मांग की थी। एनओसी नहीं मिलने से सईद अहमद ने अपने भाई तनवीर पटेल को बताया।
लोकायुक्त एसपी को शिकायत
सईद अहमद कुरेशी के भाई तनवीर ने लोकायुक्त भोपाल एसपी मनु व्यास को शिकायत की जिन्होंने डीएसपी संजय शुक्ला को शिकायत सत्यापन के लिए सौंपी थी। डीएसपी ने तनवीर को रिश्वत की बातचीत रिकॉर्ड करने के लिए डिवाइस दी तो एसडीएम व कंप्यूटर ऑपरेटर ने रिश्वत की राशि को कम करते हुए 45 हजार रुपए में एनओसी दे देने की बात कही। इस बातचीतके रिकॉर्डिंग के आधार पर पुलिस ने भ्रष्टाचार निवारण अधिनियम की धारा सात व 34, आईपीसी की धारा 120 बी में एफआईआर दर्ज की।
कंप्यूटर ऑपरेटर ने रिश्वत की राशि का लिफाफा लिया
आज दोपहर में योजनाबद्ध ढंग से लोकायुक्त की टीम फरियादी के साथ 45 हजार रुपए की राशि का लिफाफा लेकर एसडीएम कार्यालय पहुंचे जहां कंप्यूटर ऑपरेटर को लिफाफा सौंपा। रामनारायण अहिरवार ने रिश्वत की राशि को गिनने के बाद उसमें से 10 हजार रुपए अलग कर लिए और 15 हजार रुपए खुद के पास रख लिए थे। शेष 30 हजार रुपए की राशि उसने एसडीएम मनीष जैन को दे दी। एसडीएम ने राशि अपने बैग में रख ली और गाड़ी में बैठकर कार्यालय से चले गए। राशि का लेन-देन पूरा होने के बाद लोकायुक्त की टीम ने एसडीएम को रास्ते में रोककर वापस कार्यालय लेकर रिश्वत लेने की कार्रवाई पूरी की। देरशाम तक रिश्वत के आरोपियों के खिलाफ कार्रवाई चलती रही।