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जयपुर….
कामकाजी महिलाओं को पीरियड्स के दौरान वर्क फ्रोम होम की सुविधा मिल सकती है। राज्य समाज कल्याण बोर्ड ने सरकार को प्रस्ताव भिजवाया है। प्रस्ताव के अनुसार सरकारी दफ्तरों में काम करने वाली महिलाओं को पीरियड्स के दौरान वर्क फ्रोम होम की सुविधा देने का सुझाव दिया है। इसके लिए सेवा नियमों में बदलाव करके वर्क फ्रोम होम का प्रावधान जोड़ने का सुझाव है। समाज कल्याण बोर्ड की शुक्रवार को साधारण सभा की बैठक में यह प्रस्ताव सरकार को भेजने का फैसला किया गया।
बोर्ड बैठक में सरकार को नौ तरह के प्रस्ताव भेजने का फैसला किया गया। पीरियड्स के दौरान महिलाओं को होने वाली दिक्कतों का जिक्र करते हुए उन्हें घर से काम करने की सुविधा देने का प्रावधान करने को कहा है। सरकारी दफ्तरों में अभी महिलाओं को डिलीवरी पर मैटरनिटी लीव मिलती हैं, लेकिन पीरियड्स में छुट्टी सहित किसी तरह कोई रियायत नहीं मिलती। बोर्ड का तर्क है कि पीरियड्स के दौरान कई बार वर्क प्लेस पर महिलाओं को भारी परेशानी होती हैं, इसलिए उन्हें वर्क फ्रोम होम की सुविधा देनी चाहिए।
राज्य समाज कल्याण बोर्ड की अध्यक्ष अर्चना शर्मा ने कहा कि समाज कल्याण बोर्ड का गठन महिला और बच्चों के कल्याण के लिए प्रभावी नियम बनाकर उन्हें लागू करने के मकसद से किया है। बोर्ड समय-समय पर सुझाव देता है। महिलाओं को पीरियड्स में घर से काम करने की सुविधा देने का सुझाव सरकार को भेजा जा रहा है।
स्कूल कॉलेजों में गुड टच, बैड टच पर जागरूकता प्रोग्राम
समाज कल्याण बोर्ड अध्यक्ष ने कहा कि बच्चों के साथ बढ़ते यौन अपराधों में कमी लाने के उद्देश्य से राज्य में सभी कॉलेजों, स्कूलों में राज्य स्तर, जिला स्तर और पंचायत समिति स्तर पर जागरूकता कार्यक्रम किए जाएंगे। इसमें गुड टच -बैड टच और दूसरे जागरूकता प्रोग्राम और कल्याणकारी योजनाओं की जानकारी दी जाएगी।
पारिवारिक टेंशन दूर करने के लिए काउंसलिंग सेंटर
शर्मा ने बैठक में कहा कि सामाजिक बदलावों के कारण पारिवारिक तनाव बढ़ रहे हैं। इसका वैवाहिक रिश्तों पर भी असर पड़ रहा है। इसके लिए फैमिली काउंसलिंग सेंटर बनाने की जरूरत है। इन सेंटर पर महिलाओं की काउंसलिंग की जाए और जरूरत पड़ने पर कानूनी सहायता भी दी जाए।
बोर्ड चलाएगा यशोदा पालनागृह योजना और इंटरनेशनल लेंग्वेज सेंटर
समाज कल्याण बोर्ड ने यशोदा पालनागृह योजना चलाने का प्रस्ताव दिया है। इस योजना में छह महीने से लेकर छह साल तक के बच्चों की देखभाल के साथ-साथ, बच्चों के शारीरिक और मानसिक विकास के लिए सुविधाएं उपलब्ध कराई जाएगी। बोर्ड ने इंटरनेशनल लेंग्वेज लर्निंग सेंटर खोलने का भी प्रस्ताव तैयार किया है। इस सेंटर में दुनिया भर की भाषाएं सिखाए जाने की सुविधा होगी।