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इंदौर में पेट्रोल डालकर जलाई गई BM फार्मेसी कॉलेज की प्रिंसिपल विमुक्ता शर्मा (55) की शनिवार सुबह 4 बजे मौत हो गई। शव का पोस्टमॉर्टम किया जाएगा। प्रिंसिपल शर्मा पिछले पांच दिन से चोइथराम अस्पताल में भर्ती थीं। उन पर एक पूर्व छात्र आशुतोष श्रीवास्तव ने कॉलेज कैम्पस में हमला किया था। वह मार्कशीट नहीं मिलने और एक प्रोफेसर द्वारा चाकूबाजी का केस दर्ज कराए जाने से कॉलेज मैनेजमेंट से नाराज था। कलेक्टर ने आरोपी छात्र के खिलाफ रासुका भी लगा दी है।
उस दिन कॉलेज में ऐसे हमला हुआ था
बीएम कॉलेज में सुरक्षा गार्ड नहीं है। इलेक्ट्रिशियन स्पॉट इंचार्ज अलंकार गायकवाड़ और एक महिला कर्मचारी वहां मौजूद थी। उन्होंने बताया प्रिंसिपल शाम 4:45 बजे कॉलेज कैम्पस की सर्विस रोड पर आईं और 150 मीटर दूर लगे पेड़ से बिल्व पत्र तोड़ने लगीं। इसके बाद जब वे कार में बैठ रही थीं, तभी आरोपी प्लास्टिक की बाल्टी में पेट्रोल लेकर आया और मैडम पर फेंक दिया। उनका पूरा शरीर भीग गया। वे कार से बाहर आईं। तभी आरोपी ने लाइटर निकाल कर आग लगा दी। वे बचने के लिए आरोपी से झूमा-झटकी करती रहीं। वे जली हुई हालत में ही 150 मीटर दूर तक अपने ऑफिस की ओर भागीं, लेकिन बहुत देर हो चुकी थी। प्रिंसिपल की चीख सुनकर स्टाफ के दोनों लोग दौड़े और आग बुझाने के लिए उनके कपड़े फाड़ दिए। पैरदान का भी यूज किया। फिर कॉलेज की टी-शर्ट से उन्हें ढंक कर उन्हीं की कार में अस्पताल ले गए। 80 फीसदी से ज्यादा जल जाने से वे यहां पांच दिन भर्ती रहीं और आज सुबह 4 बजे उनकी मौत हो गई।
पड़ोसी दिव्यांशी बोली- आंटी बहुत हेल्पिंग नेचर की थीं
प्राचार्य विमुक्ता शर्मा का घर आनंद नगर में है। उनकी पड़ोसी और लॉ स्टूडेंट दिव्यांशी सिंह बताती हैं कि आंटी बहुत हेल्पिंग नेचर की थीं। आते-जाते उनसे बातचीत होती थीं, वो हमेशा हाल-चाल पूछती रहती थीं। गर्मी में हमारे यहां बोरिंग में पानी खत्म हो जाता था, कई बार वो आकर पूछती थीं कि पानी आया या नहीं। अपनी बेटी की तरह हमें भी स्नेह करती थीं।
जिस मार्कशीट के लिए हमला, वह आ चुकी थी लेकिन आरोपी सशर्त उसे लेना चाहता था
आरोपी आशुतोष ने फॉर्मा की सातवें सेमेस्टर की मार्कशीट के लिए जमकर हंगामा किया था। अक्टूबर में एक प्रोफेसर विजय पटेल को चाकू मार दिया। इससे हड़कंप मच गया, इसके चलते केस भी दर्ज किया गया। प्रोफेसर पटेल जब अस्पताल से डिस्चार्ज हुए तो सबसे पहले यूनिवर्सिटी जाकर 3 नवंबर 2022 को आशुतोष की रुकी हुई मार्कशीट अर्जेंट बेसेस पर जारी कराकर लाए। मार्कशीट कॉलेज आकर ले जाने की सूचना आशुतोष के पिता को दी गई। लेकिन वह लेने नहीं आए और फोन पर उलटा जवाब दिया कि जब तक चाकूबाजी का केस खत्म नहीं होगा, मैं इस मामले में पीछे नहीं हटूंगा। इसे लेकर वह प्रिंसिपल शर्मा को भी लगातार धमकी भरे मैसेज करता था।