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दमोह….
जिले के बटियागढ़ तहसील के ग्राम बरोदा कलां में महिला स्व-सहायता समूह की महिलाएं हल्दी उद्योग से न केवल आत्मनिर्भर बन चुकी हैं बल्कि अपने परिवार की सभी जरूरतों को भी पूरा कर रहीं हैं। यह सभी महिलाएं बीते दो साल से हल्दी का काम कर रहीं हैं। समूह से जुड़ी प्रत्येक महिला प्रतिमाह 15 से 20 हजार रुपए कमा रहीं हैं। यह महिलाएं पहले खेतों में खड़ी हल्दी की खेती करती हैं। फसल तैयार होने के बाद खड़ी हल्दी को सुखाकर और पीसकर उनकी पैकिंग करती हैं। इसके बाद इन्हें बाजार में बेचती हैं।
एक दिन में लगभग ढाई हजार रुपए की हल्दी बिक जाती है। समूह की महिला ममता पटेल ने बताया कि शुरुआत में आजीविका मिशन से 75 हजार रुपए मिले थे जिसमें से 65 हजार रुपए की पैकिंग वाली पॉलीथिन छपवाई थी और मशीन भी खरीदी है। हल्दी हटा और फतेहपुर में बेचते साथ ही मंडियों में थोक भी बेचते हैं।
उन्होंने बताया कि बरोदा कला में समूह का गठन नवंबर 2019 में हुआ था। समूह की महिलाओं ने निर्णय किया कि कुछ अलग हटकर काम किया जाए ताकि ज्यादा आमदनी हो सके। इसके बाद सभी ने निर्णय लिया कि हम लोग हल्दी की खेती करेंगे इसका अधिक मात्रा में उत्पादन करके पैकिंग कर बाजार में बेचेंगे। इससे हम सभी को अच्छी आमदनी होगी। इसके बाद महिलाओं ने अपने परिवार के कुछ सदस्यों के साथ भी चर्चा की। सभी ने बैठकर प्लान तैयार किया। इधर महिलाओं की लगन को देखते हुए समूह को 75 हजार की राशि प्रदान की।
महिलाओं ने मिलकर कुछ राशि स्वयं जोड़कर इस व्यवसाय में लगाई। पहले आजीविका के ब्रांड के हिसाब से पैकिंग की। इसके बाद बाजार में पता किया। इसके बाद समूह की एक से दो महिलाओं एवं उनके परिवार के सदस्यों द्वारा सारी प्रक्रिया का पता करके सीधे पैकिंग छपवाई गई। मशीनें खरीदी गईं। इसके बाद अपना काम शुरू किया। उनके द्वारा तैयार माल फतेहपुर, हटा एवं मगरोन, खड़ेरी के साप्ताहिक बाजारों में बेच रहे हैं। साथ ही दमोह के कुछ व्यापारियों से बात भी की है। आने वाले समय में यह दमोह के बड़े व्यापारियों को अपना माल भेजेंगे।
बड़े स्तर पर ले जाने का कर रहे प्रयास
ग्रामीण आजीविका मिशन के विकासखंड प्रबंधक विवेक शुक्ला का कहना है कि बरोदाकलां समूह की महिलाओं का बहुत अच्छा प्रयास है। इससे निश्चित ही उनकी आमदनी कई गुना बढ़ गई है। वर्तमान में प्रत्येक महिला को 15 से 20 हजार रुपए प्रति माह की आमदनी हो रही है। जैसे-जैसे उत्पादन व बिक्री बढ़ेगी तो इनकी आय में और वृद्धि होगी। हम इसको बड़े स्तर पर ले जाने के लिए प्रयास कर रहे हैं।